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Wednesday, July 2, 2025 9:54:48 AM

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अल्पसंख्यकों के हित में नहीं है नया वक्फ कानून

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अल्पसंख्यकों के हित में नहीं है नया वक्फ कानून

रिपोर्ट : हन्नान मोल्ला वक्फ अरबी शब्द है, जिसका अर्थ है धार्मिक कार्यों और धर्मार्थ के लिए संपत्ति का दान किया जाना। जब हजरत मोहम्मद के अनुयायियों ने उन्हें एक संपत्ति दान में दी, तो उन्होंने इसे अल्लाह के नाम पर दान देने के लिए वक्फ बनाने का आदेश दिया। इस संपत्ति से अर्जित धन […]

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संविधान निर्माता ही नहीं बल्कि सामाजिक क्रांति के अग्रदूत थे बाबा साहब

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संविधान निर्माता ही नहीं बल्कि सामाजिक क्रांति के अग्रदूत थे बाबा साहब

जेके मजदूरों ने धरना स्थल पर ही मनाई बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर की जयंती -प्रतिमा पर माल्यार्पण कर दी श्रद्धांजलि -बकाया भुगतान की मांग को लेकर 56 वें दिन भी जारी रहा अनिश्चित कालीन धरना बकाया वेतन भुगतान और सुप्रीम कोर्ट के आदेश को लागू कराने की मांग को लेकर 18 फरवरी से कोटा […]

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बाबा साहेब और आज का भारत

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बाबा साहेब और आज का भारत

रिपोर्ट : संजय पराते डॉ. बाबा साहेब अम्बेडकर भारतीय समाज के दलित-शोषित-उत्पीड़ित तबकों के विलक्षण प्रतिनिधि थे, जिन्होंने हिन्दू धर्म में जन्म तो लिया, लेकिन एक हिन्दू के रूप में उनका निधन नहीं हुआ। एक हिन्दू से गैर-हिन्दू बनने की उनकी यात्रा उनकी स्थापित मूर्तियों में साकार होती हैं, जिसमें वे पश्चिमी पोशाक के साथ […]

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बाबा साहब, भारतीय संविधान और मौजूदा खतरे

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बाबा साहब, भारतीय संविधान और मौजूदा खतरे

रिपोर्ट : बादल सरोज डॉ. अम्बेडकर संविधान निर्माता माने जाते हैं। निस्संदेह वे ड्राफ्टिंग कमेटी के चेयरमैन थे और विराट बहुमत से चुने गए थे। संविधान में उनकी विजन – नजरिये – का महत्वपूर्ण योगदान है। किन्तु उन्हें यहीं तक सीमित रखना उनके वास्तविक रूप को छुपाने की साजिश का हिस्सा बनना होगा। गाँव-गाँव में […]

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अब व्यापार के लिए सांप्रदायिक ध्रुवीकरण : शर्बत भी बंटा हिन्दू और…

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अब व्यापार के लिए सांप्रदायिक ध्रुवीकरण : शर्बत भी बंटा हिन्दू और मुस्लिम में!

रिपोर्ट : संजय पराते) रामदेव के संघी झुकाव के बारे में सब जानते हैं। सब जानते है कि उसके भगवा चोले के अंदर एक कॉर्पोरेट बैठा हुआ है। रामदेव संघ-भाजपा की हिंदुत्व और कॉर्पोरेट गठजोड़ की राजनीति का नमूना भी है और उसका उत्पाद भी। इस रामदेव को लोगों ने सलवार-कुर्ता में डरकर भागते भी […]

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राजेंद्र शर्मा के तीन व्यंग्य

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राजेंद्र शर्मा के तीन व्यंग्य

1. बिन मर्यादा सब सून लीजिए, अब क्या लोकसभा के स्पीकर जी मर्यादा के पालन का उपदेश भी नहीं दे सकते? कुर्सी का नाम स्पीकर और जरा सा उपदेश देने पर इतनी बक-झक। और उपदेश भी कैसा? मर्यादा के पालन का उपदेश। बेचारे ओम बिड़ला जी ने विपक्ष के नेता को सदन में जरा मर्यादा […]

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निशाने पर संदेशवाहक

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निशाने पर संदेशवाहक

रिपोर्ट : बादल सरोज चर्चा में स्टैंडअप कॉमेडियन कुणाल कामरा को निशाना बनाकर किये जा रहे हमले हैं। बिना नाम लिए बनाई गयी पैरोडी की महीने भर पहले दी गयी प्रस्तुति को लेकर शिवसेना के सैनिक होने का दावा करने वाले गुंडे उस हैबिटैट सेंटर में तोड़फोड़ मचा चुके हैं, जहां यह कार्यक्रम हुआ था। […]

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समृद्ध साझी विरासत का तिरपालीकरण

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समृद्ध साझी विरासत का तिरपालीकरण

रिपोर्ट : बादल सरोज   रंगों के त्यौहार होली को इस बार जितना बेरंग और बदरंग किया गया, वैसा पिछले 70 सालों की तो छोड़िए, इस पर्व के इतिहास में पहले कभी नहीं हुआ। हमेशा की तरह लोकरंग की फाग में पगी हिलोरों की फुहार आने की बजाय होली के आने के दो दिन पहले […]

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भगत सिंह और आज की चुनौतियां

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भगत सिंह और आज की चुनौतियां

शहादत दिवस पर विशेष आलेख   रिपोर्ट : संजय पराते)*   भगत सिंह को 23 मार्च, 1931 को फांसी की सजा दी गई थी और अपनी शहादत के बाद वे हमारे देश के उन बेहतरीन स्वाधीनता संग्राम सेनानियों में शामिल हो गये, जिन्होने देश और अवाम को निःस्वार्थ भाव से अपनी सेवाएं दी। उन्होंने अंगेजी […]

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आशा सम्मेलन में उत्कृष्ट कार्य के लिए एएनएम,आशा,संगिनी को किया सम्मानित

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आशा सम्मेलन में उत्कृष्ट कार्य के लिए एएनएम,आशा,संगिनी को किया सम्मानित

महराजगंज।बृजमनगंज ब्लाक स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र पर मंगलवार को आशा सम्मेलन का आयोजन किया गया।कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि मुख्य चिकित्सा अधिकारी महराजगंज श्री कांत शुक्ला मौजूद रहे।मुख्य अतिथि अतिथि के रूप में चेयरमैन राकेश जायसवाल सहित सभासद जेपी गौड उपस्थित रहे। मंगलवार को राष्ट्रीय मिशन के तहत आशा सम्मेलन का आयोजन हुआ। सम्मेलन में शासन […]

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माइक्रो फाइनेंस संस्थानों के मकड़जाल में फंसी महिलाएं

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माइक्रो फाइनेंस संस्थानों के मकड़जाल में फंसी महिलाएं

रिपोर्ट : मरियम ढवले अनुवाद : संजय पराते   बिहार में दादा-दादी ने अपनी पोती की शादी के खर्च के लिए माइक्रो फाइनेंस संस्थान (एमएफआई) से ऋण लिया था। वे इसे चुकाने में असमर्थ थे। वे ट्रेन के आगे कूद गए और आत्महत्या कर ली। महाराष्ट्र में एक मां ने अपनी 6 वर्षीय बेटी से […]

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अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की विरासत और कामकाजी महिला आंदोलन की जिम्मेदारियां

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अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की विरासत और कामकाजी महिला आंदोलन की जिम्मेदारियां

आलेख : ए आर सिंधु, अनुवाद : संजय पराते अगस्त 1910 में डेनमार्क के कोपेनहेगन में अंतर्राष्ट्रीय समाजवादी महिला सम्मेलन आयोजित किया गया था। इस सम्मेलन में कॉमरेड क्लारा ज़ेटकिन द्वारा अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस का प्रस्ताव पेश किया गया था। इस प्रस्ताव की वर्गीय प्रकृति, इसका राजनीतिक उद्देश्य, समाजवादी परिप्रेक्ष्य और अंतर्राष्ट्रीय चरित्र बहुत स्पष्ट […]

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हिंदी-उर्दू विवाद : कमबख्त ने ये बात भी उर्दू में कही है!!

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हिंदी-उर्दू विवाद :  कमबख्त ने ये बात भी उर्दू में कही है!!

रिपोर्ट : बादल सरोज   पड़ना था ट्रम्प की बांह मरोड़कर टैरिफ कम करवाने की गुण्डई के पीछे ; मुद्दा बनना चाहिए था 144 साल में जैसी नहीं हुई शेयर मार्केट की वैसी गिरावट और छोटे और मंझोले निवेशकों के न जाने कितने लाख करोड़ डूब जाना ; चर्चा होनी चाहिए थी पाताल छूते रोजगार […]

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56वां सीआईएसएफ स्थापना दिवस 4 रिजर्व बटालियन, शिवगंगा में मनाया गया

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56वां सीआईएसएफ स्थापना दिवस 4 रिजर्व बटालियन, शिवगंगा में मनाया गया

रिपोर्ट : मोहित त्यागी स्वतंत्र पत्रकार शिवगंगा, 10 मार्च, 2025। केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) का 56वां स्थापना दिवस 4 रिजर्व बटालियन, शिवगंगा में बड़े उत्साह और देशभक्ति के साथ मनाया गया। इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में डॉ. जी. रवि, कुलपति, अलगप्पा विश्वविद्यालय, अड्यार, चिरीगढ़, शिवगंगा उपस्थित थे। समारोह की शुरुआत वरिष्ठ […]

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बागेश्वर धाम सरकार में सरकार : साम्प्रदायिकता और कॉर्पोरेट का विधिवत पाणिग्रहण

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बागेश्वर धाम सरकार में सरकार : साम्प्रदायिकता और कॉर्पोरेट का विधिवत पाणिग्रहण

रिपोर्ट : बादल सरोज कई बार वास्तविकता को उजागर करने के लिए उसे शब्दों में सूत्रबद्ध करना जरूरी नहीं होता, परिस्थितिजन्य साक्ष्य काफी होते हैं। कई बार कहे-सुने से ज्यादा, सही तरीके से देखी गई छवियां ही सब कुछ उजागर कर देती हैं। पिछले दिनों छतरपुर के प्रवचनकर्ता धीरेन्द्र शास्त्री के दो समारोहों में प्रधानमंत्री […]

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राजद्रोह की धारा या सत्तापक्ष का हथियार

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राजद्रोह की धारा या सत्तापक्ष का हथियार

रिपोर्ट : राजेंद्र शर्मा   इसे भाजपा की धुलाई मशीन का करिश्मा कहना, शायद इसमें निहित हमारी संवैधानिक व्यवस्था के क्षय को कम कर के आंकना होगा। इससे पता चलता है कि नरेंद्र मोदी के राज में राजद्रोह जैसे गंभीर और पटेल नेता के रूप में उभरे, हार्दिक पटेल और जवाहर नेहरू विश्वविद्यालय की कन्हैया […]

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संविधान-स्थगित बस्तर : जहां रघु मीडियामी के लोकतांत्रिक अधिकार खत्म हो जाते…

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संविधान-स्थगित बस्तर : जहां रघु मीडियामी के लोकतांत्रिक अधिकार खत्म हो जाते हैं!

रिपोर्ट : संजय पराते   ‘इंडियन एक्सप्रेस’ की एक पुरानी रिपोर्ट से बात शुरू कर रहा हूं। दिसंबर 2014 की इस रिपोर्ट के अनुसार : जनवरी 2009 से मई 2014 के बीच 65 महीनों में बस्तर में केवल 139 नक्सलियों ने समर्पण किया था, लेकिन जून नवम्बर 2014 के बीच 6 महीनों के ‘कल्लूरी राज’ […]

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पढ़ने की संस्कृति : केरल का अनूठा लाइब्रेरी आंदोलन

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पढ़ने की संस्कृति : केरल का अनूठा लाइब्रेरी आंदोलन

रिपोर्ट : हरलीन कौर   बीसवीं सदी में किसानों और मज़दूरों के नेतृत्व में ज़मींदारी प्रथा के ख़िलाफ़ अनेक लड़ाइयां लड़ी गईं। ज़मींदारों ने किसानों का उत्पीड़न कई तरीक़ों से किया था, जिनमें किसानों को पढ़ने से वंचित रखना भी शामिल था। इसलिए ज़मींदारों की सत्ता उखाड़ फेंकने के लिए केवल भूमि सुधार के उपाय […]

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हादसों की आहुति से पूर्ण हुआ प्रचारलिप्सा का महाकुंभ

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हादसों की आहुति से पूर्ण हुआ प्रचारलिप्सा का महाकुंभ

रिपोर्ट : बादल सरोज   जाने-न जाने के संशय से उबरकर आखिरकार पंतप्रधान भी पापमोचक माने जाने वाले कुंभ में डुबकी लगा ही आये। हालांकि अपने बाकी सगे कुटुम्बियों की तरह लुंगी गमछा स्नान करने की बजाय वे गंगा में सपरिधान उतरे, रेनकोट पहन कर नहाने के अपने ही जुमले को अपने पर ही लागू […]

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धार्मिक अल्पसंख्यकों की आर्थिक स्थिति : कोटा या सकारात्मक कार्रवाई?

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धार्मिक अल्पसंख्यकों की आर्थिक स्थिति : कोटा या सकारात्मक कार्रवाई?

रिपोर्ट : राम पुनियानी अल्पसंख्यकों, खास तौर पर मुसलमानों की आर्थिक दुर्दशा उन सभी लोगों के लिए बहुत परेशान करने वाली बात रही है, जो चाहते हैं कि समाज समानता और न्याय के लिए प्रयास करे। अगर हम भारत में मुस्लिम समुदाय की उत्पत्ति को अरब व्यापारियों के माध्यम से मालाबार तट पर 7वीं शताब्दी […]

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श्रद्धालुओं की आस्था का राजनैतिक दोहन : राम तेरी गंगा मैली हो…

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श्रद्धालुओं की आस्था का राजनैतिक दोहन : राम तेरी गंगा मैली हो गई, पापियों के पाप ढोते-ढोते

रिपोर्ट : संजय पराते केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की रिपोर्ट से स्पष्ट है कि गंगा की जिस पवित्रता का वर्णन हमारे धार्मिक ग्रंथों में किया गया है, महाकुंभ की गंगा अब पवित्र नहीं रह गई है। बोर्ड की रिपोर्ट में बताया गया है कि संगम घाट पर मल से उत्पन्न कोलीफॉर्म की मात्रा प्रति 100 […]

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कॉरपोरेट सरकार में निशाने पर आदिवासी

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कॉरपोरेट सरकार में निशाने पर आदिवासी

रिपोर्ट : संजय पराते   भाजपा आदिवासियों के विकास और उनकी भलाई के बारे में लंबे चौड़े-दावे करती है। इन दावों की पड़ताल जल-जंगल-जमीन पर उनके स्वामित्व के अधिकार के संदर्भ में की जानी चाहिए, क्योंकि अधिकांश आदिवासी आज भी वन क्षेत्र में रहते हैं और उनकी आजीविका भी जंगलों से प्राप्त उत्पादों पर ही […]

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टैरिफ को तारीफ पढ़ता लगुआ-भगुआ मीडिया और ट्रंप के आगे दंडवत करती छप्पन…

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टैरिफ को तारीफ पढ़ता लगुआ-भगुआ मीडिया और ट्रंप के आगे दंडवत करती छप्पन इंची विदेश नीति

रिपोर्ट : बादल सरोज   अमरीका यात्रा से जो कम-से-कम हासिल की उम्मीद लगाई जा रही थी, वह भी पूरी नहीं हुई। इस यात्रा को लेकर शुरू से ही आशंकित भारतीयों को भी इतनी उम्मीद तो थी ही कि अपने माय डीयर फ्रेंड ट्रम्प से जब मोदी मिलेंगे तो हाऊडी ट्रम्प बोलकर इतना तो करवा […]

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हिंदू राष्ट्र में प्रतिबंधित है मृतक का शोक

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हिंदू राष्ट्र में प्रतिबंधित है मृतक का शोक

रिपोर्ट : अपूर्वानंद   दिल्ली के रेलवे प्लेटफॉर्म पर भीड़ के कारण हुई भगदड़ के चलते कम से कम 15 लोग मारे गए। इस वाक्य को वास्तव में ऐसे लिखा जाना चाहिए : भारत की राजधानी दिल्ली के रेलवे प्लेटफॉर्म पर सरकार की बदइंतज़ामी और लापरवाही के चलते उमड़ी भीड़ के बीच हुई भगदड़ में […]

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शैक्षणिक परिसरों में लोकतंत्र और सद्भाव के लिए एकता एक्सप्रेस @मुंबई

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शैक्षणिक परिसरों में लोकतंत्र और सद्भाव के लिए एकता एक्सप्रेस @मुंबई

रामदास प्रीनी शिवनंदन की रिपोर्ट, अनुवाद : संजय पराते   स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया (एसएफआई) ने नफरत के खिलाफ ‘एकता एक्सप्रेस’ के नाम से एक अखिल भारतीय अभियान – 6 दिसंबर, 2024 से 30 जनवरी, 2025 तक – चलाया था, जिसका उद्देश्य सांप्रदायिकता का मुकाबला करना और शैक्षणिक संस्थानों में लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा करना […]

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मोदी जी, अगर देश का सम्मान बचा नहीं सकते, तो इस्तीफा क्यों…

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मोदी जी, अगर देश का सम्मान बचा नहीं सकते, तो इस्तीफा क्यों नहीं दे देते?

रिपोर्ट : महेंद्र मिश्र   एक देश कैसे मरता है, अमृतसर में उतरने वाले अमेरिकी सैन्य विमान और उनमें हथकड़ियों और बेड़ियों से बंधे बैठे भारतीय नागरिक उसकी खुली निशानी हैं। मृत्यु केवल एक भौतिक क्रिया नहीं है। अगर किसी का मान-सम्मान खत्म हो जाए, किसी की प्रतिष्ठा धूल-धूसरित हो जाए, तो वह शख्स भी […]

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राजेंद्र शर्मा के तीन व्यंग्य 1. मुंह तोड़ जवाब आया है!

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राजेंद्र शर्मा के तीन व्यंग्य 1. मुंह तोड़ जवाब आया है!

 अब बोलें, क्या कहेंगे मोदी पर मीडिया के सवालों से भागने की तोहमत लगाने वाले!    बेचारे मोदी जी ने जरा सा प्रेस कॉन्फ्रेंस वगैरह से दूर ही रहने का प्रण क्या कर लिया था, भाई लोगों ने उन पर स्वतंत्र मीडिया से डरने-डराने के इल्जाम ही लगाने शुरू कर दिए।   इसकी बतकहियां शुरू […]

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बदलने थे गांव, बदल रहे हैं नाम!

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बदलने थे गांव, बदल रहे हैं नाम!

रिपोर्ट : बादल सरोज बात 1966 के नवम्बर की है। हिसार जिले के एक गांव में हुक्का गुड़गुड़ाते हुए एक ताऊ बोले कि पंजाब से अलग हो गए ये बहुत अच्छा हुआ!! उनके नाती ने पूछा कि ऐसा क्या बदल जाएगा? ताऊ बोले कि बेटा, पंजाब में ठण्ड बहुत पड़ती थी, अब नहीं पड़ेगी। ताऊ […]

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