नई दिल्ली। विश्व पुस्तक मेले में राजपाल एंड सन्ज़ के स्टॉल पर चर्चित लेखक प्रभात रंजन के उपन्यास ‘क़िस्साग्राम’ का लोकार्पण हुआ। कवि गिरिराज किराडू ने उपन्यास की प्रशंसा करते हुए बताया कि इसमें कस्बे के क़िस्से को उपन्यास का रूप प्रदान किया है।
चित्रकार सीरज सक्सेना ने कहा कि मैं पहले भी प्रभात जी का लिखा पढ़ता रहा हूँ। इस उपन्यास में मंदिर टूटने का क़िस्सा, गांव की मिट्टी। भाषा के दृश्य, भाषा का चमत्कार देखने को मिलता है। यह उपन्यास भाषा का ही ग्राम है, भाषा का ही प्रचार है। लेखक अशोक कुमार पाण्डेय ने कहा कि यह उपन्यास बेहद पठनीय है। उपन्यास में क़स्बे की कथा है तथा क़स्बों के बदलने का क़िस्सा। इस उपन्यास में प्रभात रंजन ने छोटे छोटे नये प्रयोग किये हैं। यह उपन्यास हिंदी पाठक को जोड़ता है। यह उपन्यास क़स्बे की राजनीति पर बेहद खूबसूरत उपन्यास है।
लेखक प्रभात रंजन ने बताया कि इस उपन्यास में गांव का मंदिर, पहलवान, चुनाव, जाति का वर्णन है।
अंत में मीरा जौहरी ने सभी का आभार ज्ञापित किया।
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