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Tuesday, April 22, 2025 10:31:15 PM

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महराजगंज। कोरोना काल में बुजुर्गों के लिए वरदान बना आयुष्मान – मिला इलाज तो पटरी पर लौटी सुदर्शन और रामनरेश की जिंदगी

महराजगंज। कोरोना काल में बुजुर्गों के लिए वरदान बना आयुष्मान – मिला इलाज तो पटरी पर लौटी सुदर्शन और रामनरेश की जिंदगी
/ से बेखौफ खबर के लिए स्वतंत्र पत्रकार जगदम्बा प्रसाद की रिपोर्ट

महराजगंज। कोविड-19 के दौर में जहां बुजुर्गों और बच्चों के लिए घर से बाहर निकलना जोखिम भरा है, वहीं प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (आयुष्मान भारत) योजना कुछ बुजुर्गों के लिए इस दौर में भी वरदान साबित हुई है। सुदर्शन और रामनरेश जैसे बुजुर्ग को इस योजना से निःशुल्क इलाज मिला तो बुढ़ापे में उनकी जिंदगी पटरी पर लौट आई। जिससे वह अब सामान्य जिंदगी जीने लगे हैं।
सिसवा ब्लाक के ग्राम पंचायत बेलवा खुर्द निवासी 72 वर्षीय सुदर्शन ने बताया कि मार्ग दुर्घटना में उनके हाथ की हड्डी टूट गई थी। कोरोना की वजह से इलाज के लिए बाहर जाना भी खतरनाक लग रहा था मगर गांव के पास एक चिकित्सक से कच्चा प्लास्टर करा लिया हांलाकि दर्द बना रहा। फिर आयुष्मान भारत योजना से उम्मीद जगी। पता कराया कि योजना के लिए अधिकृत अस्पताल खुल रहा है कि नहीं, जानकारी मिली कि आयुष्मान भारत योजना के लाभार्थियों का इलाज हो रहा है। इसके बाद महराजगंज स्थित एक निजी अस्पताल पर आया, अपना कार्ड दिखाया तो चिकित्सक ने आपरेशन की सलाह दी। उन्होंने बताया बीते 8 अगस्त को आपरेशन करा लिया,अब लगता है कि मेरी बुढ़ापे की जिन्दगी आसान हो जाएगी।
इसी प्रकार सिसवा ब्लाक के लक्ष्मीपुर एकडंगा निवासी 65 वर्षीय रामनरेश पाण्डेय ने बताया कि उनकी नसें टाइट हो जाती थी जिससे सूजन हो जाता था व बेतहाशा दर्द होता था कोरोना के कारण घर से बाहर जाने में डर लगता था। उन्होंने बताया मगर जब दर्द असह्य होने लगा तो आयुष्मान भारत योजना का सहारा दिखा, फिर गोल्डेन कार्ड लिया। हिम्मत करके महराजगंज आया। योजना से सम्बद्ध अधिकृत एक अस्पताल पर गया। चिकित्सक ने उन्हें हार्निया की बीमारी बताया, इलाज के लिए आपरेशन कराने को कहा, फिर क्या था रामनरेश ने बीते 21 जुलाई को आपरेशन भी करा लिया। उनका कहना है कि अगर आयुष्मान भारत योजना का कार्ड न होता तो इस संक्रमण काल में इलाज भी नहीं करा पाता।

◼️इलाज के लिए अधिकृत हैं 22 अस्पताल

आयुष्मान भारत योजना के नोडल अधिकारी डॉ.आईए अंसारी ने बताया कि योजना के लाभार्थियों के इलाज के लिए जिले में कुल 22 अस्पताल अधिकृत हैं।
उन्होंने बताया कि जिले में आयुष्मान भारत योजना के कुल लाभार्थियों की संख्या 1.48 लाख है, जिसमें से 1.14 लाख का गोल्डेन कार्ड बन गया है। इस योजना से जिले के अंदर 1661 तथा गैर जनपद में 2023 लाभार्थियों का इलाज हुआ है।

◼️क्या है आयुष्मान भारत योजना

आयुष्मान भारत योजना या प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना भारत सरकार की एक स्वास्थ्य योजना है। इस योजना की सूची में शामिल सूचीबद्ध लोगों को संबद्ध सरकारी और निजी अस्पताल में निःशुल्क इलाज मिलता है। इस योजना के अंतर्गत आने वाले प्रत्येक परिवार को पांच लाख रूपये तक के मुफ्त इलाज की सुविधा है।

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