उत्तर प्रदेश /फतेहपुर विकास खण्ड असोथर में हुई पहली बारिश से मौसम सुहाना तो हो गया और उमस भरी गर्मी से लोगों को राहत भी मिली पर वहीं गावों और कस्बे की सड़कों की स्थिति बद से बदतर हो गयी है। सड़कों पर कीचड़ होने से लोगों का आवागमन मुश्किल हो गया। पहली बारिश ने ही ग्राम पंचायत की जल निकासी व्यवस्था की पोल खोलकर रख दी है। जगह-जगह जलभराव व जमाव होने से लोगों को मुसीबतें भी झेलनी पड़ रही है। बारिश होने से ग्रामीण ही नहीं असोथर कस्बे व ग्राम कठौता में जगह-जगह जलजमाव मुसीबत बन गया है। गड्ढों में तब्दील सड़कों पर बारिश के बाद पता ही नहीं चल पा रहा है कि सड़कों पर गड्ढे हैं या फिर गड्ढों में सड़क है। सड़कों की मरम्मत व नालियों की सफाई न होने के कारण पहली बारिश में ही सड़कों पर कीचड़ फैलने से लोगों को आवागमन में भारी दिक्कक्तों का सामना करना पड़ रहा है।
क्षात्रों को स्कूल आने जाने में भारी मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है असोथर ग्राम सभा मजरे के अंर्तगत ग्राम कठौता की स्थित बद से बत्तर है कठौता गांव से होकर मेन रास्ता तालाब में तब्दील हो गयी है कीचड़ व फिसलन भरे रास्ते से ग्रामीण व राहगीर गिरते पड़ते निकलने को मजबूर है सरकारे आती जाती रही ग्राम प्रधान आते जाते रहे नेता व ग्राम प्रधान अपनी नोटबैंक बनाने के ग्रामीणों को झूठे आश्वाशन देते रहे ग्रामीण नेताओ की तकदीर बदलते रहे लेकिन ग्राम कठौता की तस्बीर नही बदली जहां हमारा देश डिजिटल इंडिया बन रहा है वही विकास के नाम पर कठौता ग्राम बहुत पीछे है ग्रामीणों में जिम्मेदार आलाधिकारियों के प्रति भारी रोष भी है।
असोथर कस्बे में व कठौता में ग्राम पानी की निकासी सही न होने के कारण जल जमाव की स्थिति इस कदर है कि जगह-जगह सड़कें नदी के रूप में तब्दील हो गयी है। सड़क पर जलजमाव होने से लोगों का कहना है कि यदि सड़क किनारे पहले से ही नाली बनायी गयी होती और जो नालियां बनी हैं उनकी समय से सफाई हुई होती तो आज इस कदर जल जमाव की स्थिति नहीं होती। और मुसीबत का सामना नहीं करना पड़ता। लोगों के बीच ये भी चर्चा है कि अभी तो सिर्फ हल्की और पहली बारिश हुई है तब जलनिकासी समस्या बन गई है लेकिन अधिक बारिश होने पर क्या होगा।
जल निकासी के दावे हवा-हवाई साबित हुए हैं।
नालियों में सिल्ट के जमा होने से भी जल निकासी में समस्या हो रही है। कस्बे में सड़कों की मरम्मत हो या गंदे पानी की निकासी की समस्या जनता आज भी जूझ रही है। स्थानीय लोग न जाने कितने वर्षों से इस गंभीर परेशानी से जूझते आ रहे हैं। वहीँ जनप्रतिनिधि जनता को समस्याओं के निराकरण का वादा निभाने का झुनझुना थमाते चले आ रहे हैं। यूं तो बरसात आने के पहले विकासखण्ड व ग्रामपंचायत अधिकारियों को नालियों की साफ सफाई करा देनी चाहिए पर बरसात के दिनों में भी जल निकासी समस्या के लिए पूरी तरह से आंख मूंदे हुए है। जिसके चलते समस्या का खात्मा नहीं हो पा रहा है।
व्हाट्सएप पर शेयर करें
No Comments






