भारत: आज दुनिया विकास की बात करती है शिक्षा की बात करती है रोजगार की बात करती है तब हमारे देश में मन्दिर और मस्जिद राजनीति की जाती है हमारे देश में बढती बेरोजगारी की किसी को कोई फर्क नहीं पड़ता क्योंकि लोगों को चाहिए मन्दिर और मस्जिद। हमारी शिक्षा की हालत गंभीर होती जा रही है लेकिन दुर्भाग्य इस देश का जो बहुत आवश्यक है शिक्षा के लिए कोई सवाल नही उठाया रहा है। जब तक हमरा शिक्षा स्तर नहीं बढ़ेगा तब तक हमारा विकास नहीं होगा। यहां की जनता चुनाव के दौरान ऐसे नेता को वोट देना पसंद करती है जो धर्म के नाम पर वोट मांगने न कि विकास के लिए आज जब तक हम विकास के लिए वोट नही देंगे तब तक हमारा कुछ नहीं हो सकता है। हमे एसे नेता का चुनाव करना चाहिए कि वो समाज के लिए अच्छा काम करे न कि धर्म के लिए क्योंकि अगर देश धर्म से महान होता तो दुनिया का सबसे महान देश हमारा होता क्योंकि हमारे देश में सारे धर्म के लोग निवास करते हैं। लेकिन देश धर्म से महान नहीं होता है महान बनने के लिए महान काम करना पड़ता है महान सोच रखना पड़ता है। किसी भी देश का विकास हुआ है तो वहां की शिक्षा ने अहम भूमिका निभाई है क्योंकि बगयर शिक्षा के हम अच्छा नहीं सोच सकते हैं। लेकिन हमारे देश के नेता नही चाहते कि हम भी पढ़ लिख कर जागरूक बने और हम भी सरकार से और अपने नेताओं से सवाल पूछें। इस लिए हमारे नेता स्कूल तथा कालेज बनवाने के बजाय मन्दिर बनवाने की बात करते हैं। और ऐ अपने बच्चों को विदेश भेज कर पढ़ा सकते हैं इस लिए इन्हें यहां स्कूल कालेज बनवाने की जरूरत नहीं पड़ती है। जगो नहीं तो हमारी हालत बद से बद्तर होती जाएगी और इसके जिम्मेदार कोई और नहीं होगा हम खुद होंगे क्योंकि हम अपनी गलतियां को दूसरे के उपर मढ सकते हैं लेकिन सच्चाई से मुंह नहीं मोड़ा सकते अगर हमें अपनी हालात बदलना है तो हमें अपने बच्चों को पढ़ाना होगा नहीं तो हम ऐसे ही मर जाएंगे और यही हसर हमारे आने वाली नस्लों का भी होगा।
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