उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को गोरखपुर मेडिकल काॅलेज में आयुष्मान भारत जन आरोग्य योजना का शुभारंभ किया. इस मौके पर सीएम योगी ने कहा कि इस योजना के शुरू होने से इलाज करने के लिए गरीब को घर, जमीन और जेवर गिरवी नहीं रखना पड़ेगा. उन्होंने कहा कि अब इलाज के लिये गरीब को किसी के आगे हाथ्ा नहीं फैलाना पड़ेगा. अब लोग गोल्डन कार्ड लेकर गर्व से अपने परिवार के किसी सदस्य का इलाज करा सकेगें.योगी ने कहा कि आज प्रधानमंत्री जी द्वारा जिस योजना की शुरुआत हो रही है. उससे 10 करोड़ परिवारों के 50 करोड़ लोग लाभान्वित होंगे. हम यूपी में 1 करोड़ 18 परिवारों को इस सुविधा का लाभ देंगे. इसके अलावा 60 लाख नए लोगों को इस योजना से सरकारी खर्चे पर लाभ दिलाएंगे. सीएम ने कहा कि अब इस योजना का लाभ पाने वाला व्यक्ति सरकारी और प्राइवेट अस्पताल में जाकर अपना इलाज करा सकेगा. इसमें प्रारंभिक कुछ चुनौतियां आएंगी पर हमारी स्वास्थ्य टीमें इसकी निगरानी करेंगी.उन्होंने दावा करते हुए कहा कि जब सर्वे हुआ तो यूपी की आबादी 19 करोड़ पर आज 23 करोड़ है. इसलिए छूटे हुए परिवारों को हम आश्वासन देते हैं कि आने वाले वक्त में उनको भी इस सुविधा का लाभ मिलेगा.सीएम योगी ने कहा कि पूर्वी उत्तर प्रदेश में इंसेफेलाइटिस से सैकड़ों मौते होती थी, जिसका कारण गरीबी और अशिक्षा था. वर्ष 1998 तक इस बीमारी का संज्ञान तक नहीं लिया गया था. अगर हम समय पर लोगों को स्वच्छता के लिये जागरूक कर सकें तो इंसेफेलाइटिस और डेंगू चिकनगुनिया को समाप्त किया जा सकता है.अगले महीने हम आठ सुपर स्पेशलिटी की शुरुआत भी बीआरडी मेडिकल कॉलेज में करने जा रहे हैं और गोरखपुर में एम्स के बनने से पहले मिनी एम्स की शुरुआत इस मेडिकल कॉलेज के रूप में हम करने जा रहे हैं. योगी ने कहा कि इंसेफेलाइटिस से मौत के मामले में बीआरडी काॅलेज की रिपोर्टिंग भी गलत ढंग से होती रही है और निगेटिव पक्ष को बताया गया.
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