बहराइच 21 दिसम्बर। वृहस्पतिवार की देर शाम कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित जिला स्तरीय पुनरीक्षा/जिला सलाहकार समिति की बैठक में प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने पाया कि फीडिंग का कार्य संतोषजनक नहीं है। इस सम्बन्ध में बैंक प्रतिनिधियों की ओर से बताया गया कि किसानों का आधार नम्बर उपलब्ध न होने के कारण यह फीडिंग का कार्य प्रभावित हो रहा है। जबकि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के लिए आधार कार्ड एक प्रमुख अभिलेख है। इस सम्बन्ध में जिलाधिकारी ने बैंकों को निर्देश दिया कि किसानों से सम्पर्क कर आधार नम्बर प्राप्त कर उनकी फीडिंग के कार्य में तेज़ी लायी जाये। लीड बैंक प्रबन्धक से अपेक्षा की गयी कि वे फीडिंग कार्य की लगातार मानीटरिंग करते रहें जबकि कृषि विभाग को निर्देश दिया गया कि इस कार्य में बैंकों को हर सभव सहयोग प्रदान करें। बैंठक के दौरान जिलाधिकारी ने पाया कि सेन्ट्रल बैंक आॅफ इण्डिया, पंजाब नेशनल बैंक, बैंक आॅफ बड़ौदा, बैंक आॅफ इण्डिया, ओरियन्टल बैंक आॅफ कामर्स, कारपोरेशन बैंक, केनरा बैंक, विजया बैंक, आईडीबीआई, जिला सहकारी बैंक, एचडीएफसी, ऐक्सिस बैंक व आईसीआईसीआई का बैंक जमा अनुपात भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा निर्धारित मानक 60 प्रतिशत से कम है। इस सम्बन्ध में लीड बैंक प्रबन्धक को निर्देश दिया गया कि शिथिलता बरतने वाले बैंको के हेड आफिस को यथास्थिति से अवगत कराया जाय। रोज़गार सृजन कार्यक्रमों की योजनावार समीक्षा के दौरान पाया गया कि राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन अन्तर्गत बैंक क्रेडिट लिंकेज अन्तर्गत सितम्बर 2018 तक कुल प्रेषित आवेदन पत्रों 638 के सापेक्ष 278 स्वीकृत हुए हैं जबकि 360 लम्बित हैं। राष्ट्रीय शहरी आलीविका मिशन अन्तर्गत प्रेषित 115 के सापेक्ष 22 स्वीकृत, खादी ग्रामोद्योग आयोग द्वारा संचालित प्रधानमंत्री रोज़गार सृजन कार्यक्रम अन्तर्गत प्रेषित 27 के सापेक्ष 09 स्वीकृत, 07 वापस तथा 11 लम्बित, खादी ग्रामोद्योग बोर्ड द्वारा संचालित प्रधानमंत्री रोज़गार सृजन कार्यक्रम अन्तर्गत प्रेषित 03 के सापेक्ष 03 स्वीकृत एवं मुख्यमंत्री ग्रामोद्योग रोज़गार योजनान्तर्गत प्रेषित 30 के सापेक्ष 08 स्वीकृत, 10 वापस तथा 12 लम्बित, जिला उद्योग एवं प्रोत्साहन केन्द्र द्वारा संचालित मुख्यमंत्री युवा स्वरोज़गार योजनान्तर्गत प्रेषित 84 के सापेक्ष 25 स्वीकृत, 35 वापस तथा 24 लम्बित तथा समाज कल्याण (विकास) विभाग द्वारा संचालित पंडित दीनदयाल स्वरोज़गार योजना (एससीपी) अन्तर्गत प्रेषित 590 के सापेक्ष 59 स्वीकृत तथा 541 आवेदन-पत्र लम्बित हैं। रोज़गार सृजन कार्यक्रमों में अपेक्षित प्रगति न पाये जाने पर जिलाधिकारी ने सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिया कि बैंक अधिकारियों से समन्वय स्थापित कर पत्रावली स्वीकृति में आ रही बाधाओं को दूर करने का प्रयास करें। उन्होंने बैंक अधिकारियों को निर्देशित किया कि ऋण पत्रावलियों को अनावश्यक रूप से लम्बित न रखा जाय। बैठक के दौरान लम्बित आर.सी. का विवरण प्रस्तुत करते हुए लीड बैंक प्रबन्धक ने बताया कि इलाहाबाद बैंक की 1213, इलाहाबाद यूपी ग्रामीण बैंक की 560, ऐक्सिस बैंक की 06, बैंक आॅफ बड़ौदा की 86, बैंक आॅफ इण्डिया की 286, केनरा बैंक की 68, सेन्ट्रल बैंक आॅफ इण्डिया की 129, एसडीएफसी बैंक की 105, आईसीआईसीआई की 11, आईडीबीआई की 08, ओरियन्टल बैंक आॅफ कामर्स की 09, पंजाब नेशनल बैंक की 652, स्टेट बैंक आॅफ इण्डिया 513, सिंडीकेट बैंक की 06, यूपी क्षेत्रीय ग्रामीण विकास बैंक की 164, यूनियन बैंक आॅफ इण्डिया 10 कुल 3826 आर.सी. लम्बित जिसकी कुल धनराशि रू. 70 करोड़ है। लीड बैंक प्रबन्धक ने बताया कि दर्ज आर.सी. पत्रावलियों में अपेक्षानुसार वसूली नहीं हो पा रही है। इस सम्बन्ध में जिलाधिकारी माला श्रीवास्तव ने लीड बैक प्रबन्धक को निर्देश दिया कि अपर जिलाधिकारी के साथ अलग से बैठक कर आर.सी. की समीक्षा कर अपेक्षानुसार वसूली सुनिश्चित करायें। बैठक का संचालन लीड बैंक प्रबन्धक बलराम साहू ने किया। इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी राहुल पाण्डेय, उप निदेशक कृषि डा. आर.के. सिंह, डीसी एनआरएलएम सुरेन्द्र कुमार गुप्ता, आरबीआई के प्रतिनिधि नीतेश शर्मा, डीडीएम नाबार्ड एम.पी. बर्नवाल, आरसेटी निदेशक आशीष कुमार गुप्ता, परियोजना अधिकारी डूडा संजय कुमार सिंह, उपायुक्त उद्योग महेश कुमार शर्मा, खादी एवं ग्रामोद्योग अधिकारी आर.एस. श्रीवास्तव, जिला समाज कल्याण अधिकारी आर.पी. सिंह सहित अन्य बैंक प्रतिनिधि मौजूद रहे।
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